लखनऊ(सौम्य भारत)। एनपीएस समाप्त किये जाने की मांग को लेकर अटेवा अध्यक्ष विजय कुमार बन्धु ने मुख्यमंत्री व प्रधानमंत्री को भेजा ज्ञापन। बन्धु ने कहा कि करोना एक वैश्विक महामारी है,जो पूरी दुनिया को हिला कर रख दिया है। यह मानवता के लिए संकट का काल है इस संकट के समय भी सभी ने अपने अपने स्तर से सहयोग कर रहे हैं, सेवाएं दे रहे हैं वह अनुकरणीय व प्रशंसनीय है। सरकारी कर्मचारी तन, मन, धन से कोरोना के खिलाफ जंग में अपना योगदान देते हुए अपने प्राण तक न्योछावर कर दिये। उन्होंने कहा कि कर्मचारियों के डीए को डेढ साल तक फ्रीज कर देने व भत्ता समाप्त करने के उनका मनोबल गिरेगा। उन्होंने बताया कि शिक्षक /कर्मचारी सीएम केयर फण्ड मे एक दिन का वेतन पूर्व मे दे चुके हैं।
उन्होंने कहा कि आर्थिक मंदी से उबरने के लिए सुझाव है कि प्रदेश मे लगभग 13 लारव एनपीएस कर्मचारी हैं। एनपीएस के रूप में सरकारी कर्मचारियों का 10 फीसद और सरकार का 14 फीसद पैसा जमा होता है। दोनों को मिला दिया जाए तो 24 फीसद पैसा कट रहा है, जो न तो कर्मचारी के काम आ रहा है न सरकार के। बन्धु ने कहा कि यदि 24 फीसद का हिसाब प्रतिमाह लगाया जाए तो यह कई करोण रुपए बैठता है। इस मंदी के दौर में यदि एनपीएस समाप्त कर दें तो सरकार के खजाने में कई अरब रुपया आ सकता है और जो हर महीने कई करोण रुपया जा रहा है वह भी तत्काल रुक जाएगा। इससे कर्मचारी भी सहमत हैं। एनपीएस के रुप कर्मचारियो के 10 फीसद पैसे को जीपीएफ में परिवर्तित करने से सरकार के खजाने में जाने लगेगा, जो एक बहुत बड़ी राहत का कार्य करेगा ।
एनपीएस समाप्त किये जाने के लिए अटेवा ने भेजा पीएम को ज्ञापन